शनिवार, 26 सितंबर 2009
रविवार, 20 सितंबर 2009
गरीबों को न्याय...आख़िर कब !
सामूहिक रूप से प्रदर्शन कर रही महिलाओं पर पुलिस के लाठी चार्ज की घटनाएँ तो अक्सर सुनी जाती है ! लेकिन अपने वाजिब हक के लिए आमरण अनसन पर अपने पति के साथ बैठी किसी दलित महिला की पिटाई की तस्वीरें आपने शायद ही देखि हों ! तो पहले आप साथ के दृश्य को देखें...!शायद आप भी आखिरी दृश्यों को देखकर भावुक हो उठे ! अपने पति को अकारण पिटता देख एस.डी.एम्. को तमाचा जड़ने वाली इस महिला की पीडा दशकों पुरानी है ! ये घटना भी १३ जून २००२ को कुशीनगर कलेक्ट्रेट में घटित हुई थी ! कप्तानगंज छेत्र के लोहेपार गाँव में दबंगों से जमीनी विवाद का दंस झेल रहे दलित रामप्रीत उस समय अपनी पत्नी के साथ कलेक्ट्रेट परिसर में न्याय मिलने की आस में ही आमरण अनसन पर बैठे थे !बढ़ी हुई दाढ़ी, खद्दर का कुरता और सिने पर तिरंगा लगाये रामप्रीत ने घटनाक्रम से पहले यही सोचा था की यहाँ तो उसकी जरूर सुनी जायेगी! लेकिन डी.एम्.साहेब से मिलने की रट लगाने के कारण उसको एस डी एम्, डी एस उपाध्याय चांटा जड़ देंगे ,ऐसा उसने बिल्कुल ही नही सोचा था ! जब रामप्रीत पीटा जा रहा था तो पांच दिनों के आमरण अनसन से काफी हद तक टूट चुकी उसकी पत्नी को ये सब नही देखा जा सका और उसने भी एक तमाचा एस डी एम् को जड़ दिया ! उसके बाद जो हुआ आपने भी देखा होगा कि एस डी एम् अपने दो रायफल धारी जवानों और ड्राईवर के साथ कैसे उस महिला पर टूट पड़े ! यह खबर टी.वी.और पेपर की headline बनी लेकिन बात शायद एक Greeb की थी इस कारण कुछ ही दिनों में prakran ठंडा pd गया !उस समय सरकार जो भी थी vo भी न्याय की ही बात करती थी लेकिन हुआ कुछ नही !रामप्रीत के chehre से दाढ़ी और purana jajba अब bhle gayab dikhta हो लेकिन उसकी likhapdhi आज भी jari है !गाँव से ujadkar ab katanganj में एक paan की gumti chlane का काम करने wale रामप्रीत का khna है की सब कुछ तो khatm हो गया देखा जाए कब कौन सरकार न्याय देती है....!ये prashn शायद आज भी jinda है की aakhirkar garibo की कौन sunega............!report-u पी live न्यूज़ buro
शुक्रवार, 18 सितंबर 2009
गरीबों की पीडा...! प्रशासनिक कहर...और मीडिया की चूप्पी !
अपने ज़माने में केन्द्र सरकार में मंत्री रहे मरहूम डॉक्टर सैयद मुहम्मद की देवरिया जिले की सैकडों एकड़ जमीन इन दिनों विवादों के कारण चर्चा में है ! चर्चा काफी तेज है की देवरिया जिला मुख्यालय से करीब १५ कि.मी.दूर छोटी गंडक नदी के किनारे भीखमपुर और बघरा गाँव की ग्राम समाज की उस जमीं पर जहाँ किसानो के फसल लहलहा रहे है ,गरीबों के पट्टे आवंटित है ,पर देवरिया तहसील प्रशासन बड़े ही सुनियोजित तरीके से एक बसपा बिधायक के नजदीकी रिश्तेदार को कब्जा दिलाने के अभियान में जुटा हुआ है !सच से सीधे रूबरू होने यु.पी.लाइव न्यूज़ की टीम जब मौके पर पहुची तो पीडितों ने बताया कि गाँव के गरीब किसानो कि कास्तकारी की जमीनों के साथ-साथ तीन अनुसूचित और तीन मुस्लिम जाति के पट्टेधारकों की जमीं पर प्रशासन नजर गडाये हुए है ! बरहज के बसपा बिधायक और उनके सांसद पिता के दबाव में प्रशासन काम कर रहा है ! उनके एक रिश्तेदार को जबरिया कब्जा दिलाने के प्रयास मे प्रशासन आए दिन यहाँ लाठी चार्ज तो कभी महिलाओं पर कहर ढा रहा है लेकिन स्थानीय मीडिया की चुप्पी ने हम सबको तोड़ कर रख दिया है !अपने जमीनों के कागजात दिखाते हुए लोगों ने बताया की वर्ष-२००६ मे जिस प्रभारी कानूनगो ने पट्टे की जमीनों के कागजातों मे काटपीट किया था उस पर तत्कालीन जिलाधिकारी एस.वी.एस.रंगाराव ने कार्यवाही करते हुए अनुसूचित जाति एंव जनजाति आयोग को भी पुरे प्रकरण से अवगत कराया था !ग्रामीणों ने पुरे प्रकरण से मुख्यमंत्री कार्यालय को भी अवगत कराने की भी बात की !उनका कहना था की बिधायक जी के दबाव मे तहसील प्रशासन ऊपर तक सही सूचना नही भेज रहा है ! यु.पी.लाइव न्यूज़ टीम ने प्रकरण से जुड़े बिधायक से भी उनका पछ लेने की कोसिस की लेकिन उनके मोबाइल स्विच ऑफ़ मिले !सर्वजन हिताय-सर्वजन सुखाय का नारा देनेवाली सरकार के एक प्रतिनिधि के कारनामो को देखकर जनता तो हैरान है ! आप भी देखें और सोचें की कैसे मिलेगा इन्हे न्याय.................!
मंगलवार, 15 सितंबर 2009
स्टुडेंट या गुंडे
चोरी और सीनाजोरी ,ये कहावत आपने जरुर सुनी होगी ,लेकिन कभी आँखों से देखी है सीनाजोरी ?
ऊपर के विजुअल में आपको दिखेगा सीनाजोरी का नजारा ,दरअसल ये स्टुडेंट है गोरखपुर के एक महाविद्यालय के जो अभी तक अपना परीक्षा रिजल्ट नही आने से इतने खफा हो गए की मंगलवार को महाविद्यालय में जमकर हंगामा किया और कुर्सी मेज तोड़ डाले ।
इन स्टुडेंट का रिजल्ट इसलिये रोक दिया गया है की इस महाविद्यालय में सामूहिक नक़ल की शिकायत मिली थी ,लेकिन स्टुडेंट मानने को राजी नही है की उन्होंने नक़ल किया है । बहरहाल इन होनहार स्टुडेंट ने अपने व्यव्हार से प्रमाणित कर दिया की उन्होंने नक़ल किया था या नही ?,कम से कम पढने वाला स्टुडेंट तो ऐसे हरकत नही करेगा की जिस कुर्सी मेज पे पढता हो उसको ही तहस नहस कर डाले , आपको क्या लगता है क्या ये सीनाजोरी नही है ?
शनिवार, 12 सितंबर 2009
सरकार को चूना.........!
सरकारों का घाटे में चलने का रोना तो सभी ने सुना होगा लेकिन सवाल यह है की जब सरकारी तंत्र में जमे लोग ख़ुद ही अपना जेब और पेट दोनों भरने पर उतारू हो जायें तो सरकारों को तो रोने का नाटक करना ही पड़ेगा ! साथ के दृश्य को देखें.....! नजारा है गोरखपुर -कुशीनगर के बीच हाईवे का , खुलेआम सड़कों पर दौड़तीं सरकारी रंग में रंगी डग्गामार बसों ने पिछले कई वर्षों में करोड़ों का चूना सरकार को लगा दिया! हाईवे पर ही दोनों जिलों के ए.आर.टी.ओं.और परिवहन विभाग के अधिकारी तो अक्सर जमे दीखते है और पुलिस विभाग की तो बात ही मत करिए ! सभी मौजूद है ,फिर भी कोई इन अवैध बसों को रोकने की कोशिस नही करता,कारण चाहे जो भी हो लेकिन सरकार को चूना तो सीना ठोंक कर लगाया जा रहा है !बात अधिकारिओं की तो यह भी साफ़ है की उनकी जेब तो ये धंधेबाज जरूर ही भर रहे होंगे ! सरकार चाहे बहन जी की हो या किसी और की लेकिन इन अधिकारिओं के कारनामों से सरकार कों जहाँ चूना लग रहा है वहीं जनता को कस्ट भोगने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है ! कैसे होगा समस्या का निदान ये तो सरकार कों ही सोचना पड़ेगा !
गुरुवार, 10 सितंबर 2009
अनोखे गजराज
अरे....वो देखो हाथी ख़ुद ही हैंडपंप चला कर नहा रहा है !पढ़कर चोंक गए न !मै भी उस समय ऐसे ही चौंका था !लेकिन जब ये नजारा मैंने देखा था तो हाथी के बच्चे के खेल को देखते देखते घंटों समय कब बीत गया ,पता ही नही चला !मै उस समय ई.टी.वी.के लिए काम करता था तो कैमरा भी साथ था तो जो मजेदार नजारा मैंने उस समय कैद किया था तो मैंने सोचा की यु .पी.लाइव के नए ब्लॉग के जरिये आप सभी से शेयर करुँ ! तो आप भी देखें और आनंद लें .................! द्वारा -एस .पी .राय-कुशीनगर
बुधवार, 9 सितंबर 2009
अंक पत्र का खेल
माध्यमिक शिक्षा बोर्ड उ.प्र के अत्यन्त गोपनीय दस्तावेजो में से एक सादी मार्कशीट शिक्षा माफियाओ ने विभाग के लोगो से मिलजुल कर हासिल करलिया है !मेरे भी एक जरूरतमंद साथी ने भी बहती गंगा में हाथ धो लिया लेकिन मुझे उनकी बातों पर यकीं तब हुआ जब हमारे कैमरे ने सादी मार्कशीट का चित्र कैद कर लिया ,कैमरे के साथ साथ जिसने भी देखा सभी अचम्भित! लेकिन जब हम खोजबीन में लगे तो पता चला की एक क्या, जितने चाहिए उतने मिल जायेंगे बस चाहिए मुहंमाँगा दाम .... इस काम को करने वाले शिक्षा जगत से जुड़े कुछ माफिया अरे सीधे कहे तो गुरु जी[कुछ लोग] ही इस धंधे में खुलेआम सिर्फ़ रुपया बनाने के लिए उतर आए हैं! कुशीनगर तो इस प्रकार के धंधों का केन्द्र बन चुका है १ शिक्षा विभाग सब जनता है लेकिन कौन पडे लफडे में !क्योंकि पैसा तो सबको प्यारा है !आपको भी देखना हो तो आप भी देख लें बोर्ड की मार्कशीट बनने से पहले कैसे दिखती है!क्योंकि हो सकता है कल आपको भी ...........! रिपोर्ट -एस.पी .राय-कुशीनगर
मंगलवार, 8 सितंबर 2009
ये प्यार का नशा है
ये साहब भी है ,अंगूर के बेटी के कारन इसी तरह रहते है ,जिसके प्यार में जब ये डूबता है तो इसे कुछ पता नही रहता ,पेशे से सिपाही साहब महराजगंज में तैनात है एक दिन जब प्यार इनपे हावी हुआ तो इन्हे कंधे पे लाद कर लोगो ने थाने पहुचाया ,आप भी देखिये और मजा लीजिये
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